एक चिरैय्या-सिटी लाइट्स २०१४
मात कर रहा है इन दिनों. सिनेमाटोग्राफी में तो काफी
पहले से टक्कर दे रहा है. एक नयी फिल्म सिटी लाइट्स
से गाना सुनते हैं आज. संगीत उभरते संगीतकार जीत
गांगुली का है. बोल लिखे हैं रश्मि सिंह ने. इसे गाया है
अरिजीत सिंह और जीत गांगुली ने.
गीत में चिड़िया को याद किया गया है, इस लिहाज़ से ये
पर्यावरण प्रेमी गीत हुआ. ऐसा गीत बहुत दिन बाद सुनाई
दिया है.
गीत के बोल:
एक चिरैय्या, घोंसले को छोड़, उड़ उड़ जाये
और ये सोचे काश ऐसा हो कदम मुड़ जाये
एक चिरैय्या, घोंसले को छोड़, उड़ उड़ जाये
और ये सोचे काश ऐसा हो कदम मुड़ जाये
तिनका तिनका कर बटोरा और बनाया घर
पर समय की बारिशों ने कर दिया बेघर
कर दिया बेघर कर दिया बेघर
ओ मुसाफिर धीर धर
आयेगा सूरज इधर
काहे भागे, काहे भागे
दूर जितना जायेगा
लौट फिर ना पायेगा
काहे भागे, काहे भागे
एक चिरैय्या को पराया देश कैसे भाये
गाँव का पीपल पुराना याद उसको आये
तिनका तिनका कर बटोरा
पर समय की बारिशों ने कर दिया बेघर
कर दिया बेघर कर दिया बेघर
ये जो अंसुअन की लड़ी बह रही है हर घड़ी
तेरे आगे तेरे आगे
याद रख हर मोड़ पर एक नयी सुबह खड़ी
काहे भागे काहे भागे
एक चिरैय्या आँसुओं से लड़-झगड़ सो जाये
राह पथरीली है लेकिन हौंसला ना जाये
तिनका तिनका कर बटोरा और बनाया घर
पर समय की बारिशों ने कर दिया बेघर
कर दिया बेघर कर दिया बेघर
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Ek Chiraiya-Citylights 2014

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