May 30, 2017

इब्ने-मरियम हुआ करे-के एल सहगल

मिर्ज़ा ग़ालिब की एक ग़ज़ल सुनते हैं सहगल
की आवाज़ में.




गीत के बोल:

इब्ने-मरियम हुआ करे कोई
इब्ने-मरियम हुआ करे कोई
मेरे दुःख की दवा करे कोई
मेरे दुःख की दवा करे

बात पर वां ज़ुबान कटती है
बात पर वां ज़बान कटती है
वो कहें और सुना करे कोई
वो कहें और सुना करे

बक रहा हूँ जुनूँ में क्या क्या कुछ हाय
बक रहा हूँ जुनूँ में क्या-क्या कुछ
कुछ न समझे खुदा करे कोई
कुछ न समझे खुदा करे

न सुनो गर बुरा कहे कोई
न कहो गर बुरा करे कोई
रोक लो गर गलत करे कोई
बख़्श दो गर खता करे कोई
बख़्श दो गर खता करे कोई

कौन है जो नहीं है हाजतमंद
कौन है जो नहीं है हाजतमंद
अरे कौन है जो नहीं है हाजतमंद
हाँ किसकी हाजत रवा करे कोई
किसकी हाजत रवा करे कोई

जब तव्क्कू ही उठ गई ग़ालिब
क्यों किसी का गिला करे कोई
क्यों किसी का गिला करे कोई
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Ibne-mariyam hua kare koi-KL Saigal Non film

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