लोग बरसों जुदा हो के जीते हैं-जिगर १९९२
ये है पंकज उधास और साधना सरगम की आवाज़ में फिल्म जिगर से.
अजय देवगन और करिश्मा कपूर अभिनीत इस फिल्म ने अच्छा व्यवसाय
किया था. किसी ने मुझसे दो दिन पहले पूछा था आपके ब्लॉग पर सन
१९९२ के बहुत से गीत हैं, क्या वजह है ? मैंने भी उनके पूछने के बाद
ही आंकड़ा देखा. उनका उत्तर मैं यहाँ दे रहा हूँ -ये महज संयोग हो सकता
है. वैसे आंकड़ों के मुताबिक ज्यादा गीत सन १९९३ से हैं.
फिल्म जिगर के इस गीत को लिखा है समीर ने और धुन के जिम्मेदार हैं
आनंद मिलिंद.
गीत के पहले ही फ्रेम से "फेविकोल का मजबूत जोड़ है नहीं टूटेगा" वाले
अंदाज़ में नायक नायिका चिपके हुए हैं.
गीत के बोल:
लोग बरसों जुदा हो के जीते हैं
लोग बरसों जुदा हो के जीते हैं
मगर अपना तो ये हाल है
ये हाल है ये हाल है के
एक पल, एक दिन जी सकेंगे न हम
एक दूजे के बिन
एक दिन जी सकेंगे न हम
एक दूजे के बिन
लोग बरसों जुदा हो के जीते हैं
लोग बरसों जुदा हो के जीते हैं
मगर अपना तो ये हाल है
ये हाल है ये हाल है के
एक पल, एक दिन जी सकेंगे न हम
एक दूजे के बिन
एक दिन जी सकेंगे न हम
एक दूजे के बिन
हम दीवाने हैं इश्क करते हैं
बेकरारी में जीते मरते हैं
हम दीवाने हैं इश्क करते हैं
बेकरारी में जीते मरते हैं
क्या हसीं दिलनशीं अब ये आलम लगे
प्यार के वास्ते ये जिन्दी कम लगे
प्यार के वास्ते ये जिन्दी कम लगे
अश्क दर्द-इ-जुदाई का पीते हैं
लोग बरसों जुदा हो के जीते हैं
लोग बरसों जुदा हो के जीते हैं
मगर अपना तो ये हाल है
ये हाल है ये हाल है के
एक पल, एक दिन जी सकेंगे न हम
एक दूजे के बिन
एक दिन जी सकेंगे न हम
एक दूजे के बिन
इस से ज़माने को हम भुलायेंगे
दिल के दरिया में डूब जायेंगे
इस से ज़माने को हम भुलायेंगे
दिल के दरिया में डूब जायेंगे
हम मिले गुल खिले आशियाना बना
दोस्ती का नायक एक फ़साना बना
दोस्ती का नायक एक फ़साना बना
ज़ख़्मी दिल को ज़फाओं से सीते हैं
लोग बरसों जुदा हो के जीते हैं
लोग बरसों जुदा हो के जीते हैं
मगर अपना तो ये हाल है
ये हाल है ये हाल है के
एक पल, एक दिन जी सकेंगे न हम
एक दूजे के बिन
एक दिन जी सकेंगे न हम
एक दूजे के बिन
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Log barson juda ho ke jeete hain-Jigar 1992
Artists: Ajay Devgan, Karishma Kapoor
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