तेरे पूजन को भगवान -भारत की बेटी १९३५
जो सन १९३५ में आई थी। ध्यान रहे हमारी फिल्मों ने बोलना शुरू किया था
आलम आरा से। अनिल बिश्वास शुरू के दौर के स्थापित संगीतकार थे और
उन्होंने सन १९६१ तक फिल्म जगत को अपनी मधुर सेवाएँ दीं। इस फिल्म
में दो शक्सियतों ने संगीत दिया है, दूसरी का नाम है-झंडे खान.
गीत के बोल:
ओ तेरे पूजन को भगवन
बना मन मंदिर आलीशान
ओ तेरे पूजन को भगवन
बना मन मंदिर आलीशान
तन में प्राण में मन में तू है
फूल में वृक्ष में वन में तू है
तन में प्राण में मन में तू है
फूल में वृक्ष में वन में तू है
तेरा रूप है नाथ जहान
बना मन मंदिर आलीशान
न्यारी है प्रभु तेरी माया
तेरा भेद ना जग ने पाया
न्यारी है प्रभु तेरी माया
तेरा भेद ना जग ने पाया
तेरी महिमा है बलवान
बना मन मंदिर आलीशान
तारों में प्रकाश तिहारा
पृथ्वी और आकाश तिहारा
तारों में प्रकाश तिहारा
पृथ्वी और आकाश तिहारा
तेरा नाम है शक्तिमान
बना मन मंदिर आलीशान
राजा से रंक बनाये तू ही
रंक को तख़्त बिठाये तू ही
रंक से रंक बनाये तू ही
नग्न को तख़्त बिठाये तू ही
तू ही करता है कल्याण
बना मन मंदिर आलीशान
झूठे जग में क्यूँ तू फंसा है
मोह माया में क्यूँ तू बसा है
झूठे जग में क्यूँ तू फंसा है
मोह माया में क्यूँ तू बसा है
कर ले कुछ जीवन का ध्यान
बना मन मंदिर आलीशान
ओ तेरे पूजन को भगवन
बना मन मंदिर आलीशान
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Tere poojan ko bhagwan-Bharat ki beti 1935
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