आयी है दिवाली लगे-आमदनी अट्ठनी खर्चा रुपैया २००१
कम से कम आम आदमी की नज़र से देखें तो ऐसा ही
लगता है. इस बहाने नाती रिश्तेदारों को हम याद कर लेते
हैं. चिट्ठी पत्री लिखने का ज़माना तो गया. पहले मोबाइल
से बात कर लेते थे, फिर एस एम् एस का ज़माना आया.
अब व्हाट्स एप का दौर है. मंदी के दौर का असर त्यौहारों
पर भी देखने को मिलता है. कुछ भी हो एकरसता को तोड़ते
हुए त्यौहार एक नयी चेतना का संचार ज़रूर करते हैं. नयी
उम्मीदें जागती है. एक खुशनुमा एहसास उत्साह जगाता है.
शहरों में अब पहले जैसा क्रेज तो नहीं बचा त्यौहारों के प्रति
मगर परंपरा निभाने का सिलसिला बदस्तूर जारी है.
आइये दीपों के इस पर्व पर एक सुन्दर गीत सुनें नयी फिल्म
आमदनी अट्ठनी खर्चा रुपैया से. फिल्म का कथानक जैसा कि
नाम है, उसी अनुरूप मध्यम वर्ग में तीन परिवारों के इर्द गिर्द
घूमता है. इस गीत को पांच गायक गायिकाओं ने गाया है. ये हैं
उदित नारायण, अलका याग्निक, कुमार सानू, शान, स्नेहा पन्त.
शान का पूरा नाम शान्तानु है. गीत के बोल सुधाकर शर्मा ने
लिखे है और धुन बनाई है हिमेश रेशमिया ने.
गीत के बोल:
मेरे सजना फटाका फूटने वाला है (दे ताली)
आई है दिवाली, सुनो जी घरवाली
तेरे कंगने ने दिल धड़काया है
लगे सजना मेरा आज पगलाया है
तेरा श्रृंगार लाया बहार
आया रे आया तुझपे हमको प्यार
मर्दों का क्या, बेदर्दों का क्या
जानो तुम क्या होता है प्यार
क्यूं भला हम करे तुमपे ऐतबार
बोले होठों की लाली
डोले कानों की बाली
तेरी चुनरी ने जलवा दिखाया रे
लगे सजना मेरा
चारों तरफ दिये जल रहे
देखो जी देखो ये क्या कह रहे
कहीं पे निगाहें कहीं पे निशाना
हम जानते हैं ये किस्सा पुराना
ना करो ये दिल्लगी छोड़ो सताना
तू ये माने ना माने, हम हैं तेरे दीवाने
देखो मौसम मोहब्बत का आया है
लगे सजना मेरा
यारों मेरी मानो
मियाँ बीवी के रिश्तो को जानो
हो प्यारों ओ मेरे प्यारों
क्या है जीवन तुम ये पहचानो
छोड़ो छोड़ो छोड़ो तकरार
कर लो, कर लो, कर लो प्यार
हो चाहे नखरेवाली, घरवाली है घरवाली
सारा संसार इसमें समाया है
लगे सजना मेरा
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Aayi Hai Diwali Lage- Aamdani Athanni Kharcha Rupaiya 2001
Artists: Govinda, Juhi Chawla
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