Jul 4, 2015

सजना मुझको रूही कह के बुलाए-रूही १९८१

इस फिल्म के आने से पहले तक ‘रूह’ शब्द अवश्य कई
बार सुना और पढ़ा था. रूही शब्द नया था और जिज्ञासा
हुयी कि फिल्म क्या भूतिया है ?

एक मित्र इस फिल्म को सिनेमा हाल में देख के आये और
उन्होंने खुलासा किया-रोमांटिक फिल्म है. फिल्म के मुख्य
सितारे हैं-मजहर खान, ज़रीना वहाब और मुकेश खन्ना.
फिल्म के गीत २-३ गीतकारों ने लिखे हैं. प्रस्तुत गीत को
मनोज यादव ने लिखा है और इसका संगीत तैयार किया है
मनोज-ज्ञान ने. फिल्म ज्यादा चली नहीं इसलिए इसके गीत
भी कहीं खो से गए.

मनोज-ज्ञान के बारे में थोडा जान लिया जाए. मनोज चरण
और ज्ञान वर्मा नामक दो युवकों ने टीम बनाई और फिल्म
‘रूही’ से संगीत देना शुरू किया. २ हिंदी फिल्मों के बाद
उनकी गाडी तमिल फिल्म उद्योग की तरफ चली. उन्होंने कुछ
साल तक उधर ही अपनी सेवाएं दीं. उसके बाद ये जोड़ी टूटी
१९८९ में और दोनों ने अलग अलग संगीत देना शुरू किया.
मनोज ‘चरण’ से ‘भटनागर’ हो गए. ज्ञान इस जोड़ी के टूटने
के बाद ज्यादा सफल हुए मनोज के बनिस्बत. मनोज ने
अपना रेकोर्डिंग स्टूडियो खोला और कई फ़िल्मों का निर्माण
किया. बतौर निर्माता वे ज्यादा सफल रहे.

बहुत से नाम पहली बार ही सुने इस फिल्म की रिलीज़ के
साथ. फिल्म का ये गीत सबसे ज्यादा बजा था उस समय.
आशा भोंसले का गाया गीत फिल्माया गया है ज़रीना वहाब
पर. फिल्म का शीर्षक गीत भी कह सकते हैं आप इसे. गीत
मधुर है और इसे बार बार सुना जा सकता है. अच्छा कोरस
गीत है और संगीत से भरपूर है.



गीत के बोल:

झूम झूम के नाचे गोरी काहे नैन चुराये रे
कौन है वो क्या लागे तेरा जिससे तू शर्माए रे
झूम झूम के नाचे गोरी काहे नैन चुराये रे
कौन है वो क्या लागे तेरा जिससे तू शर्माए

सजना मुझको रूही कह के बुलाए
सजना मुझको रूही कह के बुलाए

मैं उन को क्या बोलूं जो वो भी मुस्काये
मैं उन को क्या बोलूं जो वो भी मुस्काये

सजना मुझको रूही कह के बुलाए
सजना मुझको रूही कह के बुलाए

कसम से न जानूं री दैया
शोर क्यूँ मचाये पुरवैया
कसम से न जानूं री जानूं दैया
शोर क्यूँ मचाये पुरवैया
हो हो हो हो हो हो
जान गयी होंगी वो मोरी बतियाँ
बोली जो उनसे मोरी अँखियाँ
उनकी मेरी प्रेम कहानी है पुरानी

सजना मुझको रूही कह के बुलाए
सजना मुझको रूही कह के बुलाए

ऐसी वैसी बात न कहूँगी
सजना के रंग में रंगूंगी
ऐसी वैसी बात न कहूँगी
सजना के रंग में रंगूंगी
हो हो हो हो हो हो
दिन रात पूजूंगी उनको 
पुजारी न बन के रहूंगी
कहे जग सारा मुझको है दीवानी
कहे जग सारा मुझको है दीवानी

सजना मुझको रूही कह के बुलाए
सजना मुझको रूही कह के बुलाए

मैं उन को क्या बोलूं जो वो भी मुस्काये
मैं उन को क्या बोलूं जो वो भी मुस्काये

सजना मुझको रूही कह के बुलाए
सजना मुझको रूही कह के बुलाए
हो ला ला ला ला ला ला ला ला ला
हो ला ला ला ला ला ला ला ला ला
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Sajna mujhko roohi keh ke bulaye-Roohi 1981

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