चलती चली जाये-दूर का राही १९७१
इस गीत में मामला बिलकुल उलट है. किशोर के संगीत निर्देशन
में हेमंत कुमार ने गीत गाया है.
फिल्म का नाम है दूर का राही जो सन १९७१ की फिल्म है और
प्रस्तुत गीत के रचनाकार हैं शैलेन्द्र.
गीत के बोल:
चलती चली जाये ज़िंदगी की डगर
कभी खत्म ना हो ये सफ़र
मन्ज़िल की उसे कुछ भी ना खबर
फिर भी चला जाए दूर का राही
दूर का राही दूर का राही
चलती चली जाये ज़िंदगी की डगर
कभी खत्म ना हो ये सफ़र
मन्ज़िल की उसे कुछ भी ना खबर
फिर भी चला जाए दूर का राही
दूर का राही दूर का राही
मुड़ के ना देखे कुछ भी ना बोले
भेद अपने दिल का राही ना खोले
आया कहाँ से किस देश का है
कोई ना जाने क्या ढूंढता है
मन्ज़िल की उसे कुछ भी ना खबर
फिर भी चला जाये दूर का राही
दूर का राही दूर का राही
झलके ना कुछ भी आशा निराशा
क्या कोई समझे नैनोँ की भाषा
चेहरा के जैसे कोरा सफ़ा है
क़िस्मत ने जिस पर कुछ ना लिखा है
मन्ज़िल की उसे कुछ भी ना खबर
फिर भी चला जाए दूर का राही
दूर का राही दूर का राही
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Chalti chali jaaye-Door ka rahi 1971
Artists: Kishore Kumar,
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