मेहंदी है रचने वाली-ज़ुबैदा २०००
कुछ ही गीत ही गाये हैं. फिल्म ज़ुबैदा में उनके गाये २
गीत हैं. एक युगल गीत आप सुन चुके हैं पहले जो उदित
के साथ गाया हुआ है. अब सुनते हैं शादी के अवसर पर
बजाय जाने वाला एक लोकप्रिय गीत.
जावेद अख्तर इस गीत के रचयिता हैं और संगीतकार का
नाम हम आपको पोस्ट की सबसे पहली पंक्ति में बतला ही
चुके हैं. ये बन्ना और बन्नी एनवायरनमेंट फ्रेंडली जंतु होते
हैं इसलिए उन्हें हरियाला और हरियाली कह कर बुलाया
जाता है.
गीत के बोल:
मेहंदी है रचने वाली हाथों में गहरी लाली
कहें सखियां अब कलियां हाथों में खिलने वाली हैं
तेरे मन को जीवन को नई ख़ुशियां मिलने वाली हैं
हो हरियाली बन्नो
ले जाने तुझको गुईयां
आने वाले हैं सैयां
थामेंगे आ के बईयां
गूंजेगी शहनाई
अंगनाई अंगनाई
मेहंदी है रचने वाली हाथों में गहरी लाली
कहें सखियां अब कलियां हाथों में खिलने वाली हैं
तेरे मन को जीवन को नई ख़ुशियां मिलने वाली हैं
गायें मईया और मौसी गायें बहना और भाभी
के मेहंदी खिल जाये रंग लाये हरियाली बन्नी
गायें फूफी और चाची गायें नानी और दादी
के मेहंदी मन भाये सज जाये हरियाली बन्नी
मेहंदी रूप संवारे हो मेहंदी रंग निखारे हो
हरियाली बन्नी के आंचल में उतरेंगे तारे
मेहंदी है रचने वाली हाथों में गहरी लाली
कहें सखियां अब कलियां हाथों में खिलने वाली हैं
तेरे मन को जीवन को नई ख़ुशियां मिलने वाली हैं
गाजे बाजे बाराती घोड़ा गाड़ी और हाथी को
लायेंगे साजन तेरे आंगन हरियाली बन्नी
तेरी मेहंदी वो देखेंगे तो अपना दिल रख देंगे वो
पैरों में तेरी चुपके से हरियाली बन्नी
मेहंदी रूप संवारे ओ मेहंदी रंग निखारे हो
हरियाली बन्नी के आंचल में उतरेंगे तारे
मेहंदी है रचने वाली हाथों में गहरी लाली
कहें सखियां अब कलियां हाथों में खिलने वाली हैं
तेरे मन को जीवन को नई ख़ुशियां मिलने वाली हैं
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Mehndi hai rachne wali-Zubeida 2000
Artist: Karishma Kapoor
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