हम भी राहों में खड़े हैं-सलाम मेमसाब १९७९
नव वर्ष की हार्दिक शुभकामनाएं।
इस अवसर पर आपके लिए एक गीत पेश है मजरूह की लेखनी से निकला
हुआ जो मेरे दिल के करीब हैं । इसको गाया है स्वर सम्राज्ञी लता मंगेशकर
ने। सलाम मेमसाब फिल्म का निर्देशन असरानी ने किया था। इसके पहले
असरानी सन १९७७ में आई फिल्म चला मुरारी हीरो बनने का निर्देशन भी
कर चुके थे। दोनों फिल्मों में आर डी बर्मन का संगीत है। ये गीत ज़रीना वहाब
पर फिल्माया गाया है। उम्मीद है, भविष्य में इसका विडियो यू ट्यूब पर
दिखाई देगा।
गीत के बोल:
हम भी राहों में खड़े हैं इधर देख लो
जानेमन प्यार से एक नज़र देख लो
हम भी राहों में
ओ ले लो, ले लो दुआ किसी बेकरार की
हम भी राहों में खड़े हैं इधर देख लो
जानेमन प्यार से एक नज़र देख लो
हम भी राहों में
हम तो चाहत के मारे
क्या करें दिल से हारे
आस मिलने की लेकर
फिरते हैं मारे मारे
हर गली देखा तुमको
हर नज़र ढूँढा तुमको
जा के तुम किस दुनिया में
खो गए सजन प्यारे
हो, अब तो बीते नहीं घडी इंतज़ार की
सूना कब से ये दिल का नगर देख लो
जानेमन प्यार से एक नज़र देख लो
हम भी राहों में
हम नहीं भूले तुमको
तुम भुला बैठे हमको
बेवफा फिर भी कह दें
कैसे अपने बालम को
दिल को तड़पाने वाले
लौट आ ओ जाने वाले
कब तक ठोकर खाएं
लेके हम तेरे गम को
हो, कोई सुनता नहीं एक बेकरार की
दिल है घायल तो है टुकड़े जिगर देख लो
जानेमन प्यार से एक नज़र देख लो
ओ ले लो, ले लो दुआ किसी बेकरार की
हम भी राहों में खड़े हैं इधर देख लो
जानेमन प्यार से एक नज़र देख लो
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Ham bhi rahon mein khade hai(Lata)-Salaam Memsaab 1979
Artist: Zarina Wahab
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