फूल आहिस्ता फेंको-प्रेम कहानी १९७५
से शब्दों के प्रयोग में कुछ नया सा होना भी एक वजह है.
फूल का जिक्र कई मुखड़ों में हुआ है. फूल फेंकने का जिक्र
वाला शायद ये एकमात्र गीत है.
फिल्म प्रेम कहानी का ये गीत खूब सुना गया. राजेश खन्ना
पर फिल्माया गए कुछ गिनती के मुकेश वाले गीत हैं और
उनमें से ९० टका पॉपुलर हैं.
गीत के बोल:
कहा आपका ये बजा ही सही
के हम बेकदर बेवफा ही सही
बड़े शौक से जाइए छोड़ कर
मगर गुलशन से पहले यूँ तोड़ कर
फूल आहिस्ता फेंको
फूल आहिस्ता फेंको फूल बड़े नाज़ुक होते हैं
फूल आहिस्ता फेंको फूल बड़े नाज़ुक होते हैं
वैसे भी तो ये बदक़िस्मत नोक पे कांटों की सोते हैं
फूल आहिस्ता
हाँ आहिस्ता फेंको फूल बड़े नाज़ुक होते हैं
फूल आहिस्ता फेंको
बड़ी खूबसूरत शिक़ायत है ये
बड़ी खूबसूरत शिक़ायत है ये
मगर सोचिये क्या शराफ़त है ये
जो औरों का दिल तोड़ते रहते हैं
लगे चोट उनको तो ये कहते हैं
के फूल आहिस्ता
आहिस्ता फेंको फूल बड़े नाज़ुक होते हैं
जो रुलाते हैं लोगों को एक दिन खुद भी रोते हैं
आहिस्ता फेंको फूल बड़े नाज़ुक होते हैं
ये करेंगे कैसे घायल ये तो खुद घायल होते हैं
फूल आहिस्ता फेंको
गुलों के बड़े आप हमदर्द हैं
गुलों के बड़े आप हमदर्द हैं
भला क्यों न हो आप भी मर्द हैं
हज़ारों सवालों का है इक जवाब
फ़रेब-ए-नज़र ये न हो ऐ जनाब
ये न हो ऐ जनाब
फूल आहिस्ता
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Phool ahista phenko-Prem kahani 1975
Artists: Rajesh Khanna, Shashi Kapoor, Mumtaz
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