जाने कैसे कब कहाँ-शक्ति १९८२
वो अपने कलाकरों का बहुत ख्याल रखता है. अब आप
सोच रहे होंगे-लेटलतीफी का ख्याल, फीस का ख्याल या
उनके नखरों का ख्याल.
अब चूंकि गाना महा-नायक वाला है अतः लेट होने वाला
तो सवाल ही नहीं है, और एक अनुशासित अभिनेत्री हैं
स्मिता पाटिल इस गीत में तो फिर ऐसा क्या है जो
हमने सवाल उठाया है?
वो बात है कलाकारों की सेहत का ख्याल. इस गीत में
निर्देशक ने जॉगिंग करवा दी है दोनों से. अब ये पुराना
शगल था जब कलाकारों से एक्टिंग ना बन रही तो उन्हें
दौडाते भगाते रहो. चेहरे के भावों की जगह फूल पत्ती
घास-फूस दिखाते रहो. एक्टिंग वाला मुद्दा यहाँ नहीं है.
निर्देशक केवल ये बतलाना चाहता है कि कहानी के पात्र
हेल्थ कांशस हैं.
सुनते हैं फिल्म शक्ति का गीत जिसे आनंद बक्षी ने लिखा
है. आर डी बर्मन इसके संगीतकार हैं. किशोर और लता
का गाया ये युगल गीत हमने काफी बार सुन लिया है, है
ना जी. अब इस गीत से १९९७ की एक फिल्म का टाइटल
भी निकल के आया जिसमें महानायक की बहू ने काम
किया है. है ना संयोग.
गीत के बोल:
जाने कैसे कब कहाँ इक़रार हो गया
हम सोचते ही रह गये और प्यार हो गया
जाने कैसे कब कहाँ इक़रार हो गया
हम सोचते ही रह गये और प्यार हो गया
गुलशन बनीं गलियां सभी
फूल बन गये कलियाँ सभी
गुलशन बनीं गलियां सभी
फूल बन गईं कलियाँ सभी
लगता है मेरा सेहरा तैयार हो गया
हम सोचते ही रह गये और प्यार हो गया
तुमने हमें बेबस किया
दिल ने हमें धोखा दिया
तुमने हमें बेबस किया
दिल ने हमें धोखा दिया
उफ तौबा जीना कितना दुश्वार हो गया
हम सोचते ही रह गये और प्यार हो गया
हम चुप रहे कुछ न कहा
कहने को क्या बाक़ी रहा
हम चुप रहे कुछ न कहा
कहने को क्या बाक़ी रहा
बस आँखों ही आँखों में इज़हार हो गया
हम सोचते ही रह गये और प्यार हो गया
जाने कैसे कब कहाँ इक़रार हो गया
हम सोचते ही रह गये और प्यार हो गया
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Jaane kaise kab kahan-Shakti 1982
Artists: Amitabh Bachchan, Smita Patil
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