Nov 16, 2019

कभी तुम आग हो-हथकड़ी १९८२

फिल्म हथकड़ी के जो गाने ज्यादा बजे उनमें से एक आप
सुन चुके हैं इधर. अब आपको वो सुनवाते हैं जिसके लिए
हमने थोडा सा दिमाग खपाया था किसी समय. कभी तुम
आग हो के आगे क्या क्या हो सकता है-कभी तुम बाग हो
कभी तुम झाग हो वगैरह. कोमल कवि ह्रदय कभी कभी
हिलोरे मार लिया करता था मगर जो सामान बनता था वो
अल्प मात्रा में होता था-ना तो उससे पूरी कविता और ना
ही पूरा गीत बन पाता था. प्रेरणा का होना बहुत ज़रूरी है
किसी भी काम के लिए. हमारे मोहल्ले में प्रेरणा नाम का
कोई भी व्यक्ति नहीं था इसलिए कोई भी कार्य पूरा नहीं हो
पाता था.

सुनते हैं मजरूह सुल्तानपुरी का लिखा गीत जिसे गाया है
किशोर कुमार और आशा भोंसले ने. बप्पी लहरी इस उम्दा
धुनें के लिए जिम्मेदार संगीतकार हैं. शत्रुघ्न सिन्हा और
रंजीता पर इसे फिल्माया गया है. छेड़ छाड वाला बढ़िया
गीत है ये जिसे आप बड़े आराम से कभी कभार सुन सकते
हैं. गीत में एक कुत्ते की आवाज़ भी है अतः ये सिनेमा के
उन दुर्लभ गीतों में शामिल है जिसे जीव प्रेमी गीत भी कह
सकते हैं. अब ये कुत्ता किसका था ये तो आपको महंगे
वाले ब्लॉग या रेडियो अदरक-लहसुन पर आने वाले एक
विशेष कार्यक्रम के सफर में ही पता चल पायेगा.



गीत के बोल:

कभी तुम आग हो कभी तुम पानी
हाय क्या चीज़ हो दिलवर जानी
इसी पे तो दिल विल सब मेरा ले लिया
हट दीवाने मैंने बुरा क्या किया
हट दीवाने मैंने बुरा क्या किया

कभी कभी आग हूँ कभी कभी पानी
मैं भी क्या चीज़ हूँ दिलवर जानी
इसी पे तो सब दिल विल तेरा ले लिया
हाँ दिलरुबा तूने बुरा क्या किया
हाँ दिलरुबा तूने बुरा क्या किया

भों भो भो
चोरी छुपे किया करें तेरे नज़ारे
तरस तरस कहाँ तलक हम बेचारे
ओ हा हा ला हा ला हा ला हा
चोरी छुपे किया करें तेरे नज़ारे
तरस तरस कहाँ तलक हम बेचारे
फिर कब जाना आना होगा
कुछ तो ले कर जाना होगा
हो हो हो हो हो हो
आगे बढ़ो मिया मुझे समझा है क्या


कभी तुम आग हो कभी तुम पानी
हाय क्या चीज़ हो दिलवर जानी
इसी पे तो दिल विल सब मेरा ले लिया
हट दीवाने मैंने बुरा क्या किया
हट दीवाने मैंने बुरा क्या किया

ओ हो हो हो हो आ हा हा हा ला ला ला
खोलो दिल का पन्ना पता चले तो एक बार
नाम तेरा मेरा कहाँ लिखा है यार
हो ला हा ला हा ला हा ला हा
खोलो दिल का पन्ना पता चले तो एक बार
नाम तेरा मेरा कहाँ लिखा है यार
मै तो जानूं जब तू आया
तुझको देखा तुझको पाया
हो हो हो हो हो हो
जिसे चाहो मिले नहीं ऐसा भी क्या
कभी कभी आग हूँ कभी कभी पानी
मैं भी क्या चीज़ हूँ दिलवर जानी
इसी पे तो सब दिल विल मेरा ले लिया
हट दीवाने मैंने बुरा क्या किया
हाँ दिलरुबा तूने बुरा क्या किया
हट दीवाने मैंने बुरा क्या किया
हाँ दिलरुबा तूने बुरा क्या किया
……………………………………………..
Kabhi tum aag ho-Hathkadi 1982

Artists: Shatrughan Sinha, Ranjeeta

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