भली भली सी एक सूरत-बुड्ढा मिल गया १९७१
सिचुएशन आधारित गीतों में से एक है ये गीत। वे गीत
जिनके बिना भी फ़िल्म आगे बढ़ सकती है उनमे से एक।
ऐसे मसाले फ़िल्म में दर्शकों की समय समय पर उपजी
बोरियत को ख़तम करने के लिए डाले जाते हैं। गीत में
नविन निश्चल और अर्चना परदे पर गा रहे हैं। पार्श्व गायन
किया है आशा भोंसले और किशोर कुमार ने। फ़िल्म
बुड्ढा मिल गया का ये गीत बहुत घिसा हुआ गीत है अर्थात
बहुत बजा है समय समय पर।
गाने के बोल:
भली भली सी एक सूरत
भला सा एक नाम
धड़कन है मेरे दिल की
सुबह हो या शाम
भली भली सी एक सूरत
भला सा एक नाम
धड़कन है मेरे दिल की
सुबह हो या शाम
कौन है वो दिलरुबा
अरे कहो न हमसे ज़रा
हाँ, ओई लो, ना ना ना ना
ओये होए होए, तुम हो वो दिलरुबा
भली भली सी एक सूरत
भला सा एक नाम
धड़कन है मेरे दिल की
सुबह हो या शाम
हुई मेरी जिया की चोरी
अच्छा?
अरे हाँ उस चोर की शकल है गोरी
तो क्या हुआ?
हो गया मिलना बहुत ज़रूरी
चल पगली!
फिर सुनो तो आगे हमारी दिल की मजबूरी, तू ,तू ,तू
वो जो मेरे करीब आया
ओ हो
मेरे तन पे पड़ा जो साया
फिर क्या हुआ?
यूँ समझो न गले लगाया
छी छी छी
तब से सोती हूँ जागती हूँ लेके उसका नाम
कौन हैं वो दिलरुबा कहो न हमसे ज़रा
तुम हो वो दिलरुबा
भली-भली सी एक सूरत...
हाय मुश्क़िल हैं मेरा भी जीना
ह... म ...
सोचूँ तो आता हैं पसिना
बाप-रे!
कल मैने देखी अजब हसीना
ह... म ...
प्यार मे उसके धड़के मेरा दिल जलता है सीना
धक धक धक
पास वो आई बड़ी अदा से
हा!
बोली क्यूँ हो खफ़ा-खफ़ा से
हाय मर जाऊँ
हम भी थे एक नज़र के प्यासे
क्यूँ नहीं?
दिल पे उसने जो हाथ रखा आ गया आराम
कौन हैं वो दिलरुबा कहो न हमसे ज़रा
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